चित्रात्मक-- कहानी
गिल्लू गिलहरी
गोल मटोल गिल्लू गिलहरी सभी को बहुत प्यारी थी।उसके शरीर पर पड़ी लम्बी धारियां और उसकी लम्बी सी पूंछ देखते ही बनती थीं।वह रोहन के बगीचे में एक पेड़ के कोटर में रहती थी।
रोहन को जब भी मौका मिलता वह उसके पास पहुंच जाता।गिल्लू को आवाज देता तो वह झट से पेड़ से उतर कर आती। और रोहन के चारों ओर चक्कर काटने लगती।
रोहन गिल्लू का सबसे अच्छा दोस्त था।रोहन से गिल्लू जरा भी नहीं डरती थी।वह रोहन की हथेलियों से दाने उठा कर इत्मिनान से कुतरती।और रोहन भी उसे उठा कर प्यार से सहलाता।
एक बार रोहन बीमार पड़ गया।डाक्टर ने उसे बिस्तर से उठने के लिये मना कर दिया।जब दो तीन दिनों तक वह बगीचे में नहीं आया तो गिल्लू परेशान हो गई।वह बार बार पेड़ से उतरती और रोहन के घर के दरवाजे की तरफ़ देखती।फ़िर दुखी होकर वापस पेड़ पर चढ़ जाती। एक दिन वह बहुत हिम्मत करके रोहन के घर में जा घुसी।वह सीधे रोहन के बिस्तर पर चढ़ गयी। रोहन उसे देखकर बहुत खुश हुआ।वह भी अपनी दोस्त से मिलने के लिये परेशान था।
डाक्टर के इलाज से रोहन की तबीयत सुधरने लगी थी।गिल्लू भी अपने दोस्त का बहुत ध्यान रखती।जब रोहन आराम करता तो वह भी अपने कोटर में चली जाती। रोहन के जागने पर वह अपनी पूंछ हिलाती आती और झट उसके बिस्तर में घुस जाती। फ़िर खूब उछल कूद मचाती।गिल्लू की प्यारी हरकतों से रोहन के मम्मी पापा भी हंसते हंसते लोट पोट हो जाते।
आज रोहन स्कूल जाने लगा तो उसने देखा गिल्लू भी बहुत खुश नजर आ रही थी।उसने आंखें मटका कर रोहन को बाय किया।रोहन हाथ हिलाता अपने स्कूल की तरफ़ बढ़ गया।
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पूनम श्रीवास्तव
22 टिप्पणियां:
वाह!!!!!बहुत अच्छी प्रस्तुति सुंदर बाल कहानी अच्छी लगी,...
MY NEW POST ...सम्बोधन...
रोहन और गिल्लू की सुन्दर बाल कहानी..
बेहतरीन....
लाज़व्वाब ,... सुदर पोस्ट है
beautiful kids story poonam ji.
बाल जीवन के लिए एक मनमोहक कहानी !
ऐसी कहानियाँ बच्चों के मन में प्रकृति और कायनात के प्रति प्रेम पैदा करती हैं ....रोहन और गिल्लू की कहानी यही समझती है .....!
बाल कहानी क्या, यह तो हम अधेड़ को भी बहुत अच्छी लगी।
सबको अच्छी लगने वाली बाल कहानी .....
दोस्ती का संदेश देती बहुत ही सुंदर बाल कहानी
बहुत अच्छी बाल कहानी
सुंदर...
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..ये हैं की-बोर्ड वाली औरतें।
आहा मजेदार कहानी.....
सुन्दर बाल कहानी..
रोहन और गिल्लू की दोस्ती, प्रेम अद्भुत।
बहुत सुंदर बाल कहानी...!
अरे वाह!
प्रस्तुति का आदि और अंत दोनों ही सुखमय हैं.
आपको महाशिवरात्रि की बहुत बहुत शुभकामनाएँ.
समय मिलने पर मेरे ब्लॉग पर आईएगा.
आपके शब्द मेरे लिए संजीवनी का कार्य
करते हैं.
बहुत अच्छी प्रस्तुति, सुंदर रचना.....
शिवरात्रि की हार्दिक शुभकामनायें!
MY NEW POST ...काव्यांजलि...
बहुत ही अनुपम भाव संयोजन लिए बेहतरीन प्रस्तुति ।
इससे यह साबित साबितहै की हम ही नहीं सभी जिव जन्तुओ में सम्बेदनाएं होती है ! पूनम जी बधाई !
Lmbi bimari ke baad aap sabko padhne ka avsar mila... bahut achchhi lagi aapki rachna...bahut2 badhai..
आशा है आप कुशल से होंगीं.
आप मेरे ब्लॉग पर नहीं आयीं ,इसलिए
शंका ग्रस्त हूँ.
कृपा,कुशलमंगल का समाचार दीजिएगा.
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